आज़ाद दर्पण डेस्क: झारखंड में बालू को लेकर हमेशा से राजनीति होती आ रही है इस मामले पर झारखण्ड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सदन में बड़ी घोषणा की है,उन्होंने कहा कि झारखंड के वैसे गरीब जो इनकम टैक्स के दायरे में नहीं आते हैं, उन्हें आवास निर्माण के लिए सरकार मुफ्त में बालू मुहैया कराएगी। उन्होंने कहा कि बार-बार यह मसला उठता है,अबुआ आवास, पीएम आवास या व्यक्तिगत रूप से घर बनाने के लिए बालू की जरूरत होती है. इसका सबसे ज्यादा खामियाजा गरीबों को भुगतना पड़ता है. इसलिए सरकार ने टैक्स के दायरे से बाहर गरीबों को मुफ्त में बालू मुहैया कराने का फैसला लिया है।
इससे पहले अनुपूरक बजट पर भाजपा विधायक अनंत ओझा के कटौती प्रस्ताव के पक्ष में बोलते हुए भानु प्रताप शाही ने बालू के मसले पर सरकार को कटघरे में खड़ा किया था,उन्होंने कहा कि हाईवा ट्रकों वाले यहां से बालू लेकर निकल जाते हैं,लेकिन गरीब जब अपने घर के लिए ट्रैक्टर से बालू मंगवाते हैं तो ट्रैक्टर को पुलिस जब्त कर लेती है। उन्होंने आरोप लगाया था कि राज्य सरकार की वजह से झारखंड में बालू सोना बन गया है. जब भी हेमंत सोरेन के नेतृत्व में सरकार बनती है तो झारखंड से बालू विलुप्त हो जाता है,बालू के लिए पूरे राज्य मे लोग परेशान रहते है । अभी NGT ने नदियों से बालू के उठाव पे पूरे देश मे रोक लगाई गई है यह रोक हर वर्ष मानसून के सीजन मे लगाया जाता है ।